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दिलीप कुमार को तीन फिल्में छोड़ने का रहा मलाल

दिलीप कुमार को तीन फिल्में छोड़ने का रहा मलाल |हमेशा उन तीन फिल्मों को याद करके अपने डिसिशन पर पछताते थे|

दिलीप कुमार को तीन फिल्में छोड़ने का रहा मलाल |हमेशा उन तीन फिल्मों को याद करके अपने डिसिशन पर पछताते थे कि कैसे डिसीजन ले लिया उन 3 फिल्मों को  रिजेक्ट करने का|

हिंदी फिल्म इंडस्ट्री का जब इतिहास लिखा जाएगा तो उसमें फिल्म इंडस्ट्री दिलीप कुमार के साथ और दिलीप कुमार के बाद का जिक्र जरूर आएगा|

 

एक्टिंग की दुनिया के बेताज बादशाह कहे जाते हैं दिलीप कुमार ट्रेजेडी किंग के नाम से मशहूर है इंडस्ट्री में| अपने फिल्मी कैरियर में बहुत ज्यादा फिल्में नहीं कि दिलीप साहब ने लेकिन जितनी भी कि उनमें 90% सुपरहिट फिल्में साबित हुई|

उनके करीबी बताते हैं कि दिलीप कुमार को फिल्में चुनने का sense बहुत अच्छा था | कहानी सुनकर ही उन्हें बहुत हद तक अंदाजा हो जाता था कि यह फिल्म हिट होने वाली है लेकिन उनकी जिंदगी में तीन ऐसी सुपरहिट फिल्में आई जिन्हें उन्होंने रिजेक्ट कर दिया जिसके बाद उन्हें हमेशा उन तीन फिल्मों को रिजेक्ट करने का मलाल रहा|

कौन सी है वह तीन फिल्में जिन्हें दिलीप कुमार ने रिजेक्ट कर दिया था

दिलीप कुमार ने जिन तीन फिल्मों को करने से मना कर दिया था उनका नाम सुनकर आप भी चौंक जाएंगे कि आखिर ऐसा कैसे हो सकता है कि दिलीप कुमार को अंदाजा ना हुआ हो स्टोरी सुनकर कि यह फिल्में  सुपर हिट होने वाली है|

फिल्म बैजू बावरा  यह फिल्म पहले दिलीप कुमार साहब को ऑफर हुई थी लेकिन इस फिल्म को दिलीप कुमार ने मना कर दिया था करने से और बाद में इस फिल्म को bharat bhushan के साथ बनाई गई जोकि आज भी याद की जाती है अपनी स्टोरी और अपने गानों को लेकर|

गुरुदत्त की फिल्म प्यासा भी दिलीप कुमार को पहले ऑफर हुई थी जिसे उन्होंने करने से इंकार कर दिया था|

 तीसरी फिल्म जो दिलीप कुमार ने ठुकरा दी थी करने से

वह थी सलीम जावेद की लिखी हुई फिल्म जंजीर जिसे बाद में अमिताभ बच्चन ने किया और इसी फिल्म को करने के बाद अमिताभ बच्चन ने फिर कभी पलट कर नहीं देखा अपने कैरियर में|

फिल्म जंजीर सबसे पहले दिलीप कुमार को ऑफर की गई थी लेकिन दिलीप कुमार ने इस फिल्म को करने से मना कर दिया था| उसके बाद यह फिल्म देवानंद को ऑफर की गई उन्होंने भी एंग्री यंग मैन के रोल को करने से मना कर दिया| बाद में धर्मेंद्र के सामने इस फिल्म की पेशकश की गई लेकिन धर्मेंद्र ने भी इसको करने से साफ इनकार कर दिया| राजकुमार साहब को भी जंजीर की कहानी सुनाई गई लेकिन उन्होंने भी इस फिल्म को नहीं किया|

सलीम जावेद समझ चुके थे कि अब इस फिल्म के लिए उन्हें किसी न्यू कमर का ही सहारा लेना पड़ेगा| उन्होंने अमिताभ बच्चन की फिल्म सात हिंदुस्तानी देख रखी थी जिसमें अमिताभ बच्चन के आंखों के एक्सप्रेशंस उनके दिमाग पर छा चुके थे और फिर उन्होंने अमिताभ बच्चन को अप्रोच किया और उसके बाद जंजीर एक इतिहास बन गई जिसने अमिताभ बच्चन की कामयाबी की दास्तान लिख दी|